MP में भीषण गर्मी से हाल बेहाल, हीटवेव ने रोकी जिंदगी की रफ्तार

MP Weather: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में भीषण गर्मी और हीटवेव (Heat Wave) से जनजीवन पूरी तरह प्रभावित है. राज्य में पारा 47 डिग्री सेल्सियस को पार कर गया है. वहीं, दस स्थानों पर तापमान 45 से 47 डिग्री सेल्सियस तक दर्ज किया गया है.

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Heat Wave in Madhya Pradesh: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में भीषण गर्मी और हीटवेव (Heat Wave) से जनजीवन पूरी तरह प्रभावित है. राज्य में पारा 47 डिग्री सेल्सियस को पार कर गया है. वहीं, दस स्थानों पर तापमान 45 से 47 डिग्री सेल्सियस तक दर्ज किया गया है. राज्य में गर्मी का असर बना हुआ है, गर्म हवाएं झुलसा देने वाली हैं. इससे आम जनजीवन पूरी तरह प्रभावित है.आलम यह है कि सुबह से ही गर्मी अपना असर दिखाने लगती है. दोपहर आते-आते सूरज आग उगलने लगता है और गर्मी रौद्र रूप धारण कर लेती है. दोपहर में तो सड़कों पर सन्नाटा ऐसे पसर जाता है, जैसे मानो कर्फ्यू लगा हो.

मौसम विज्ञानी ए. शर्मा ने बताया है कि बीते 24 घंटे के दौरान राज्य में सबसे ज्यादा 47.5 डिग्री सेल्सियस तापमान निवाड़ी में दर्ज किया गया है.खजुराहो में तापमान 47.4 डिग्री सेल्सियस रहा. वहीं, सतना, ग्वालियर, शिवपुरी, सीधी, दतिया, रीवा, शहडोल, नौगांव, डिंडोरी और टीकमगढ़ में 45 से 47 डिग्री सेल्सियस तापमान रिकॉर्ड किया गया.

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घर से बाहर नहीं निकलने की सलाह

मौसम विभाग का पूर्वानुमान है कि अरब सागर की ओर से मध्य प्रदेश की ओर नमी आ रही है, इससे कुछ स्थानों पर वर्षा होने की संभावना है.कुछ स्थानों पर वज्रपात भी हो सकता है. हालांकि, भिंड, मुरैना, सतना, छतरपुर, पन्ना आदि स्थानों पर लू का असर बना रहेगा. तापमान में बढ़ोत्तरी से रात में भी गर्मी होने लगी है. यहां तक कि कूलर की हवा भी बेअसर हो चली है.चिकित्सकों के साथ मौसम विज्ञानियों ने आमजनों को धूप के वक्त घर से बाहर नहीं निकलने की सलाह दी है.साथ में ज्यादा से ज्यादा पानी के उपयोग पर जोर दिया है.

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गर्मी के साथ पानी का संकट 

मध्य प्रदेश में गर्मी बढ़ रही है. लू के थपेड़े झुलसाने वाले हैं और इसके साथ ही कई हिस्सों में जल संकट की आहट सुनाई देने लगी है. सरकार की ओर से इन हालातों से निपटने के प्रयास किए जा रहे हैं. वहीं, बारिश के पानी को सहेजने की तैयारी भी है. राज्य के कई इलाके ऐसे हैं, जिन्हें गर्मी के मौसम में खासकर मई और जून महीने में पानी के संकट से जूझना होता है. इस बार भी धीरे-धीरे जल संकट की आहट सुनाई देने लगी है. जल संकट को दूर करने के लिए कई कदम उठाए गए हैं. इसी कड़ी में सतना, मैहर, मऊगंज, कटनी, जबलपुर, छतरपुर, सिंगरौली सहित लगभग एक दर्जन जिलों को जल अभाव ग्रस्त क्षेत्र घोषित किया जा चुका है. इन स्थानों पर नलकूप के लिए बोरिंग करने और पानी के दुरुपयोग पर पूरी तरह रोक लगी हुई है.

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(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)