दिग्विजय सिंह के क्षेत्र राघौगढ़ के स्कूल का हाल, कहीं छत का प्लास्टर गिरा तो कहीं झांक रहा सरिया!

MP News: कहीं छत का प्लास्टर गिरा है तो कहीं सरिया झांक रहा है. बच्चों की जान पर हर वक्त खतरे का साया है. ऐसी बदहाली का आलम प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह के क्षेत्र के स्कूलों में है.पढ़ें पूरी रिपोर्ट.

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MP News: कहीं छत का प्लास्टर गिरा है तो कहीं सरिया झांक रहा है. बच्चों की जान पर हर वक्त खतरे का साया है. ऐसी बदहाली का आलम प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) के क्षेत्र के स्कूलों में है. गुना जिले (Guna News) के राघोगढ़ ब्लॉक के स्कूलों की स्थिति बेहद जर्जर हैं. स्कूलों की हालत इतनी बदतर है कि किसी स्कूलों की छत का प्लास्टर उखड़ चुका है, तो कहीं सरिया बाहर निकल आया है. ऐसे स्कूल भवन में बच्चों की पढ़ाई कराई जाती है, जहां हमेशा हादसे का खतरा बना रहता है. वहीं इन स्कूलों में पेयजल समस्या भी व्याप्त है. 

राघौगढ़ ब्लॉक के पीपलखेड़ी एकीकृत माध्यमिक विद्यालय में भी ऐसे ही जर्जर स्कूल भवन में गांव के छात्र शिक्षा प्राप्त करते हैं. यहां छात्र संख्या करीब 100 के है. चार शिक्षक स्कूल में नियुक्त हैं. भवन में तीन कक्ष है. यह तीन कक्षों की छत का प्लास्टर भी झड़ रहा है और छत में से सरिया झांक रहा है. स्कूलों की मरम्मत के लिए विभाग के अधिकारियों को भी सूचित किया गया है लेकिन अभी तक मरम्मत कार्य नहीं हुआ. बता दें कि स्कूल भवन का निर्माण करीब 16-17 साल पहले किया गया था. 

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स्कूल, आंगनबाड़ी के हैंडपंप हैं खराब

स्कूल में पानी पीने के इंतजाम के लिए दो हैंडपंप लगे हैं, लेकिन दोनों ही हैंडपंप बंद पड़े हैं. पांच बार 181 पर शिकायत की जा चुकी है, लेकिन विभाग ने मरम्मत नहीं की है. ऐसे में बच्चों को बाहर से पानी लाना पड़ता है. एक हैंडपंप स्कूल का है और एक हैंडपंप आंगनबाड़ी केंद्र का है वह भी खराब है. इस वजह से दोनों जगह पानी बाहर से लाना पड़ता है.

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बारिश से बचने प्राचार्य कक्ष में लगाया तिरपाल

यहां बारिश के दिनों में भवन की छत से पानी टपकता रहता है. इसलिए कमरे में तिरपाल लगाकर पढ़ाई करवाई जाती है. प्राचार्य कक्ष का भी हाल ऐसा ही है. यहां सेवारत शिक्षक की ओर से मरम्मत की मांग किए जाने के बाद भी सुधार नहीं हो पाया है. भवन मरम्मत की शिकायत भी 181 पर भी की गई है. एकीकृत शाला पीपलखेड़ी के प्राचार्य मथुरालाल कुशवाह का कहना है कि वे इस संबंध में वरिष्ठ अधिकारियों को लिखित और मौखिक रूप से सूचित कर चुके हैं लेकिन, कोई सुनवाई नहीं हो सकी है. वहीं हैंडपंप सुधरवाने के लिए पीएचई विभाग को भी सूचित किया जा चुका है. 

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डर के साए में बच्चे

पीपलखेड़ी के इस स्कूल में कक्षा पहली से आठवीं तक के बच्चे पढ़ाई करते हैं, जहां दीवारों में दरारें आ चुकी हैं. बरामदे का प्लास्टर भी झड़ने से सरिए निकल आए हैं. भवन के कक्षाओं में बच्चे बैठने से भी डरते हैं. स्कूल भवन पुराना होने के कारण पढ़ाई के दौरान कई बार छत का प्लास्टर टेबल, कुर्सी और बच्चों के उपर भी गिर जाता है. बहरहाल शिक्षक और बच्चे अपनी जान जोखीम में डालकर अध्ययन-अध्यापन कर रहे हैं. 

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