Madrasa Education: मोहन कैबिनेट ने मदरसों में हिंदू बच्चों के पढ़ने पर लिया बड़ा फैसला, दिए ये निर्देश

MP Madrasa Education Board: मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में मंगलवार को मोहन कैबिनेट की अहम बैठक हुई. इसमें सरकार ने प्रदेश के मदरसों में पढ़ रहे बच्चों पर अहम फैसला लिया. सरकार ने ऐसे मदरसों को साफ निर्देश दिया कि किसी भी बच्चे को धार्मिक शिक्षा लेने के लिए बाध्य नहीं किया जाए.

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Madrasa Education Act: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव (Mohan Yadav) ने मंगलवार को कैबिनेट की बैठक बुलाई. इस बैठक में उन्होंने कई अहम फैसलों पर मुहर लगाई. इस बैठक में सबसे बड़ा फैसला लेते हुए मोहन सरकार ने ये आदेश जरी किया कि स्कूल शिक्षा विभाग ने मदरसों (Madrasa) में अन्य धर्म की धार्मिक शिक्षा (Religious Education) पर प्रतिबंध के संबंध में जो आदेश जारी किया है, उसका सख्ती से पालन किया जाए. मदरसों में अन्य धर्म के लोगों को किसी विशेष धर्म की शिक्षा लेने के लिए मजबूर न किया जाए. मदरसों में ऐसी कोई बाध्यता नहीं होनी चाहिए.

यहां कोले जाएंगे ईओडब्ल्यू का कार्यालय

इसके अलावा भ्रष्टाचार अंकुश लगाने के लिए सभी संभागों में ईओडब्ल्यू का कार्यालय खोलने का फैसला लिया गया. इसी कड़ी में भ्रष्टाचार के विरुद्ध तंत्र को मज़बूत करने के लिए बचे हुए तीन संभागों शहडोल, नर्मदापुरम और चम्बल में भी ईओडब्लू के पुलिस अधीक्षक का कार्यालय स्थापित करने का निर्णय लिया गया है. दरअसल, अभी तक ईओडब्लू का 10 संभाग में से सात संभागों में ही संचालित है. इसके अलावा, साइबर तहसील परियोजना का विस्तार पूरे मध्य प्रदेश में  करने का फैसला भी लिया गया. उन्होंने बताया कि दो जिलों में पायलट प्रोजेक्ट की जो शुरुआत हुई थी. अब उसकी सफलता को देखते हुए यह फैसला लिया गया है, क्योंकि राष्ट्रीय स्तर पर इसकी सराहना हुई है. लिहाजा, अब इसे पूरे प्रदेश में लागू किया जाएगा.

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चार मिशन शुरू करने का किया ऐलान

बैठक में मुख्यमंत्री ने प्रदेश में चार तरह के मिशन शुरू करने का भी फैसला लिया. अब प्रदेश में चार नए मिशन के तहत युवा शक्ति मिशन, महिला सशक्तिकरण, किसान कल्याण मिशन और ग़रीब कल्याण मिशन की शुरुआत की जाएगी. इसके तहत प्रधानमंत्री  की ओर से देश के विकास में जो कार्यक्रम जारी हुआ है. प्रदेश में भी वह कार्यक्रम जारी होंगे. प्रशासन अकादमी भोपाल में सामान्य प्रशासन विभाग इसके लिए एक मन्थन कार्यक्रम आयोजित करेगा.  महिला सशक्तिकरण केंद्र को लेकर भी फ़ैसला किया गया है. इसके तहत राज्य सरकार ने कुल 364 पदों की स्वीकृति दी है, इस पर आने वाले वित्तीय भार का केंद्र और राज्य के बीच 60:40 का होगा. इस योजना से महिलाओं के सशक्तिकरण, विकास, स्वास्थ्य सेवा और शिक्षा के लिए काम किया जाएगा. इसके सही तरह से संचालन के लिए प्रोजेक्ट मैनेजमेंट यूनिट और जिला स्तर पर भी डिस्ट्रिक्ट मैनेजमेंट यूनिट बनाए जाएंगे.

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नर्मदा नदी का होगा समग्र विकास

जीवन दायनी नर्मदा के समग्र विकास के लिए मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल के साथ समिति का गठन किया जाएगा. नगरीय विकास एवं आवास मंत्री, पंचायत ग्रामीण मंत्री, राजस्व मंत्री और वन मंत्री इस समिति के सदस्य होंगे. समिति के सचिव, मुख्य सचिव और सहायक सचिव समिति की हर माह में एक बार बैठक आयोजित करेंगी. इसके अलावा, सिंगरौली ज़िले के चतुरंगी में माइक्रो इरिगेशन प्रोजेक्ट की स्वीकृति दी गई है लगभग 1320 करोड़ माइक्रो इरीगेशन जिसमें 32,165 हेक्टेयर सिंचाई होगी. 

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मुख्यमंत्री ने सभी प्रभारी मंत्री जिनको ज़िले का आवंटन हुआ है. मुख्यमंत्री की अपेक्षा और निर्देश ऐसा था कि सभी प्रत्येक माह में एक बार प्रभार ज़िलों में ज़रूर जाए और रात्रि विश्राम वहां पर करें, तो बेहतर होगा. इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने कहा कि 26 अगस्त को जन्माष्टमी है. लिहाजा, सभी ज़िलों में जन्माष्टमी के कार्यक्रम में सभी मंत्रियों को उपस्थित रहने और समारोह को भव्यता से बनाने का निर्णय लिया. 

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