Madhya Pradesh News: दिल्ली (Delhi) के राजेन्द्र नगर हादसे में UPSC परीक्षा की तैयारी करने वाले तीन युवाओं की जान जाने के बाद ग्वालियर नगर निगम की नींद खुली है और वह अभियान चलाकर बेसमेंट में चल रहे कॉमर्शियल संस्थानों और फायर एनओसी न लेने वालों के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है. इसके चलते उसने एक टाउनशिप के बेसमेंट में बनी दुकानों को सील कर दिया है. इसके अलावा फायर एनओसी न होने पर एक बड़े टाउनशिप का ऑफिस और क्लब भी सील कर दिया गया है. जबकि कुछ संस्थानों पर लाखों रुपए का जुर्माना वसूला.
बेसमेंट में बनी दुकानों को कर दिया सील
नगर निगम का अमला दिल्ली हादसे के बाद कार्रवाई में जुट गया है. लक्ष्मीबाई कॉलोनी में बेसमेंट में चल रही एक इक लाइब्रेरी और लक्ष्य कोचिंग को सील करने के बाद टीम ने नारायण कृष्णा टावर पर बड़ी कार्रवाई करते हुए टावर के बेसमेंट से लोगों को बाहर निकालकर इसके बेसमेंट में बनी दुकानों को सील कर दिया है. बेसमेंट की इन दुकानों में कोचिंग, लाइब्रेरी और अन्य दुकानों का संचालन हो रहा था. इसके बाद चेक करने पर फायर एनओसी न मिलने पर नारायण कृष्ण टावर को भी किया सीज कर दिया. इस मौके पर नगर निगम की टीम और दुकानदारों में विवाद की स्थिति भी बनी लेकिन मौके पर मौजूद अफसरों और पुलिस ने समझा बुझाकर उन्हें शांत कर दिया.
विंडसर हिल्स पर भी हुई कार्रवाई
नगर निगम ने शहर की बड़ी टाउनशिप विंडसर हिल्स पर भी बड़ी कार्रवाई की है. जांच करने पहुंची टीम को जब इसकी फायर एनओसी नहीं मिली तो नगर निगम अफसरों ने इसके क्लब हाउस और ऑफिस को सील कर दिया. इसके अलावा फायर फाइटिंग व्यवस्था न होंने पर परम फूड एवं तनुष्का ऑटोमोबाइल से 6 लाख 21 हजार रूपये की पेनाल्टी वसूल करके अल्टीमेटम दिया गया है.
दिल्ली की घटना के बाद ग्वालियर में कार्रवाई
फायर ऑफिसर उमंग प्रधान ने बताया कि नगर निगम आयुक्त हर्ष सिंह एवं अपर आयुक्त मुनीश सिंह सिकरवार के निर्देश पर फायर अमले के साथ शहर में संचालित दुकानों, शोरूम, गोदाम आदि का निरीक्षण किया जा रहा है. जिसके तहत परम फूड का निरीक्षण कर फायर सेफ्टी से जुड़े उपकरण देखे गए और फायर एनओसी न होने पर शासन द्वारा नियमानुसार पेनल्टी और निर्धारित शुल्क सहित 2 लाख 63 हजार 147 रूपए संचालक से वसूले गए. इसके साथ ही सिटी सेंटर स्थित तनुस्का ऑटोमोबाइल शोरूम का निरीक्षण किया गया. निरीक्षण के दौरान फायर एनओसी नहीं होने पर पेनाल्टी और निर्धारित शुल्क सहित 3 लाख 58 हजार 025 रूपए ऑनलाइन ट्रांजेक्शन कर जमा कराए गए.
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