Dhar Murder Case: धार जिले के धामनोद क्षेत्र में बीते साल हुए एक सनसनीखेज हत्या के मामले में अब अदालत ने सख्त फैसला सुनाया है. गणेश जी और माता जी के त्योहार के चंदे को लेकर शुरू हुआ मामूली विवाद एक बुजुर्ग महिला की निर्मम हत्या में बदल गया था. अब इस बहुचर्चित केस में अदालत ने दोनों दोषियों को आजीवन कारावास और अर्थदंड की सजा सुनाई है.
मामूली विवाद से शुरू हुआ था झगड़ा
यह वारदात 5 अगस्त 2024 की है. धामनोद थाना क्षेत्र के ग्राम वासलीपुरा (ग्राम धानी के पास) में रहने वाली वृद्धा कलविंदर कौर उर्फ रज्जीबाई अपने घर में मृत मिली थीं. उनका गला धारदार हथियार से रेतकर बेरहमी से हत्या कर दी गई थी. गांव में त्योहार के चंदे को लेकर हुआ विवाद ही इस जघन्य अपराध की वजह बना.
तीन दिन में खुल गया था हत्या का राज
घटना के बाद धामनोद पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए जांच शुरू की. पुलिस ने तकनीकी साक्ष्य, भौतिक प्रमाण और मुखबिरों की मदद से मात्र तीन दिनों में इस अंधे कत्ल का पर्दाफाश कर दिया. इस दौरान दो युवकों बबलु मालीबाड (20) और मुकेश डावर (21) को गिरफ्तार किया गया.
नशे में की गई थी हत्या
जांच में खुलासा हुआ कि वारदात के समय दोनों आरोपी नशे में धुत थे. चंदे की रकम को लेकर वृद्धा से कहासुनी हुई और बात इतनी बढ़ी कि गुस्से में आकर दोनों ने धारदार हथियार से महिला पर हमला कर उसकी हत्या कर दी. यह घटना पूरे इलाके में चर्चा का विषय बन गई थी.
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कोर्ट ने सुनाई आजीवन कारावास की सज़ा
इस प्रकरण की पैरवी एडीपीओ मंजुलिका मेव ने की. न्यायालय में पर्याप्त सबूत और गवाहों की गवाही के बाद अपर सत्र न्यायाधीश अनिल चौहान की अदालत ने दोनों आरोपियों को आजीवन सश्रम कारावास और 10-10 हजार रुपये के अर्थदंड की सज़ा सुनाई है.
पुलिस की तेज कार्रवाई से न्याय
धामनोद पुलिस ने अपनी सतर्कता और तेज कार्रवाई से सिर्फ तीन दिन में इस हत्या का खुलासा कर दिया था. अब अदालत के फैसले के बाद पीड़ित परिवार को न्याय मिला है. साथ ही यह मामला समाज में एक सशक्त संदेश देता है कि अपराध चाहे कितना भी छोटा या बड़ा क्यों न हो, कानून के शिकंजे से कोई नहीं बच सकता.
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