Dhanteras 2024: बुरहानपुर के ऐतिहासिक स्वामीनारायण मंदिर (Swaminarayan Mandir) में धनतेरस पर्व (Dhanteras) पर 200 वर्ष प्राचीन मंदिर में भक्तों को माता लक्ष्मी (Maha Laxmi Maa) के कुमकुम से भरे चरणों के दर्शन का अवसर प्राप्त होता है. लोगों व श्रद्धालुओं को यह अवसर साल में एक बार ही मिलता है. जो भक्त धनतेरस (Dhanteras Puja) पर माता लक्ष्मी जी के कुमकुम से भरे चरणों के दर्शन कर लेता है, वह खुद को सौभाग्यशाली व समृद्ध प्राप्ति का प्रतीक मानता है. आइए जानते हैं इस ऐतिहासिक मंदिर से जुड़ी जानकारियां.
क्या है मान्यता?
प्राचीन मान्यताओं के अनुसार बुरहानपुर के इस ऐतिहासिक स्वामीनारायण मंदिर में माता लक्ष्मीजी के चरणों के दर्शन करने को अत्यंत दुर्लभ माना जाता है. यहां साल में एक बार माता लक्ष्मी जी के कुमकुम भरे चरणों के दर्शन करके, इस कुमकुम को माथे पर लगाया जाता है. भक्तों का यह विश्वास है कि इससे जीवन में धन और समृद्धि की कमी नहीं होगी. इस मंदिर में हर साल धनतेरस के दिन माता लक्ष्मी जी के चरणों में कुमकुम अर्पित किया जाता है. दर्शन के लिए आने वाले भक्तों को माता लक्ष्मी जी के चरणों में अर्पित कुमकुम को वितरित किया जाता है.
मंदिर प्रबंधन द्वारा धनतेरस के दिन आने वाले भक्तों की संख्या को देखते हुए खास इंतजाम किए जाते हैं. इस दिन स्वामीनाराणय मंदिर में विशेष पूजा अर्चना का आयोजन किया जाता है. भक्तों की भारी भीड़ लक्ष्मी जी के चरणों के दर्शन के लिए मंदिर में उमड़ती है. इस अवसर पर बुरहानपुर के अलावा महाराष्ट्र, गुजरात और मध्य प्रदेश के अन्य जिलों के भी भक्त दर्शन करने के लिए पहुंचते हैं. मंदिर में लक्ष्मी चरण के पूजन के बाद ही लोग अपने-अपने घरों में लक्ष्मी पूजन करते है.
यह भी पढ़ें : Narak Chaturdashi: पंडित जी ने बताया नरक चौदस पर क्यों महत्वपूर्ण है यम पूजा?
यह भी पढ़ें : Diwali 2024: छोटे दुकानदारों व स्ट्रीट वेंडर्स के लिए खुशखबरी, CM मोहन ने एकादशी तक ये शुल्क किया माफ
यह भी पढ़ें : Liquor Scam: शराब घोटाले मामले में ED ने छत्तीसगढ़ व झारखंड में मारा छापा, इस IAS के घर पहुंची टीम
यह भी पढ़ें : Run for Unity: एकता दौड़ को हरी दिखाएंगे 'मोहन-विष्णु', फिटनेस मंत्र और यूनिटी की शपथ भी दिलाएंगे