Chhattisgarh Class 10th Topper: 10वीं में टॉपर बनीं इशिका की खतरे में है जिंदगी, जान बचाने के लिए सरकार से की ये बड़ी मांग

Chhattisgarh Class 10th Topper: छत्तीसगढ़ का गौरव बढ़ाने वाली इशिका के माता-पिता बेटी की बीमारी पर अब तक 15 लाख रुपये खर्च कर चुके हैं. लेकिन पारिवारिक स्थिति ठीक नहीं होने की वजह से इस होनहार बेटी का सही से इलाज तक नहीं हो पा रहा है. लिहाजा, ब्लड कैंसर से जूझ रही छात्रा ने सरकार से मदद की गुहार लगाई है.

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Chhattisgarh Class 10th Topper Ishika: छत्तीसगढ़ माध्यमिक शिक्षा मंडल (Chhattisgarh Board of Secondary Education) के दसवीं बोर्ड परीक्षा में प्रथम स्थान हासिल कर (Class 10th Topper) राज्य का गौरव बढ़ाने वाली कांकेर जिले के कोयलीबेडा ब्लॉक (Koylibeda block) के गोंडाहुर स्कूल की छात्रा इशिका बाला (Ishika Bala) ने सरकार से इलाज के लिए मदद की गुहार लगाई है. दरअसल, इशिका बाला ब्लड कैंसर की गंभीर बीमारी से जूझ रही है. इस बीमारी ने इशिका की पढ़ाई पर भी असर डाला, लेकिन इस बेटी की हिम्मत और उसकी उम्मीदों की उड़ान ने उसे टॉप स्थान पर पर पहुंचा दिया.

दसवीं की बोर्ड परीक्षा में 99.17 प्रतिशत हासिल कर छत्तीसगढ़ में प्रथम स्थान हासिल करने वाली ब्लड कैंसर से जूझ रही इशिका कहती है कि राज्य में प्रथम स्थान हासिल होने से वह बेहद खुश है. इसके लिए उन्होंने कड़ी मेहनत की. एक दिन अचानक नाक से खून निकलने लगा. जांच कराने पर ब्लड कैंसर बीमारी का पता चला. इस दौरान बेहद कमजोर हो गई, जिसकी वजह से एक साल पढ़ाई छोड़ना मजबूरी बन गई. माता-पिता और शिक्षकों ने मनोबल कमजोर होने नहीं दिया और आगे बढ़ने की प्रेरणा दी. इस वजह से वह इस मुकाम पर पहुंच पाई है. उन्होंने बताया कि आज भी इलाज चल रहा है. उनका सपना आईएएस अफसर बनने का है.

पिता पेशे से हैं किसान

पिता शंकर बाला का कहना है कि वह पेशे से किसान हैं. इशिका के राज्य में प्रथम स्थान प्राप्त करने से वह बेहद खुश है लेकिन बेटी ब्लड कैंसर जैसी गंभीर बीमारी से जूझ रही है, जिसका इलाज भी चल रहा है. शासन के आयुष्मान कार्ड से अब तक ढेड़ लाख मदद मिल पाई है, जबकि 15 लाख से अधिक खर्च आ चुका हैं. उनकी मांग है कि शासन-प्रशासन उनकी मदद को आगे आए, ताकि बेटी का बेहतर इलाज हो सके.

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कलेक्टर ने दिलाया मदद का भरोसा

इस पर जिला शिक्षा अधिकारी अशोक कुमार पटेल का कहना है कि यह इशिका बाला का राज्य में प्रथम स्थान प्राप्त करना कांकेर जिले के लिए बड़ी उपलब्धि है. यह कांकेर जिले का गौरव है. जानकारी मिली है कि बच्ची को ब्लड कैंसर हैं. उसे इस बीमारी के चलते आगे कोई बाधा नहीं आए इसके लिए जिला प्रशासन, शिक्षा विभाग और स्वास्थ्य विभाग, इन तीनों के समन्वय से और प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सहायता योजना के तहत जो भी मदद हो सकती है की जाएगी, ताकि बच्ची के स्वास्थ्य में बेहतर सुधार हो सके.

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ऐसे में NDTV भी शासन प्रशासन से यही मांग करती है कि राज्य का गौरव बढ़ाने वाली इशिका जो ब्लड कैंसर जैसी गंभीर बीमारी से जूझ रही है, उसकी जितनी भी मदद हो सके जरूर करे. ताकि एक किसान की बेटी को इस गंभीर बीमारी से छुटकारा मिल सके.

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