एमपी में बारिश से हाहाकार के बीच सूखे से जूझ रहा धार, इंद्र देव को मनाने के लिए की जारी ये अनूठी पूजा

Dhar Rain Worship: धार जिले के खिलेड़ी में बारिश कराने के लिए पूजा की जा रही है. आइए आपको इसके बारे में विस्तार से जानकारी देते हैं.

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धार जिले में बारिश करवाने के लिए ग्रामीणों ने की इंद्र देव की पूजा

Dhar Latest News: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के कई जिलों में बारिश ने कहर मचा रखा है. कई इलाकों में बाढ़ जैसे हालात बने हुए हैं. इसी बीच, धार जिले के बदनावर तहसील अंतर्गत ग्राम खिलेड़ी में लंबे समय से बारिश नहीं होने के कारण ग्रामीणों की चिंता बढ़ती जा रही हैं. खेतों में खड़ी फसलें सूखने की कगार पर हैं और पानी की कमी से हालात गंभीर होते जा रहे हैं. ऐसे में ग्रामीणों ने इंद्र देव को प्रसन्न करने के लिए पारंपरिक पूजा और अनूठे टोटकों का सहारा लिया है.

धार जिले में बारिश कराने के लिए इंद्र देव की पूजा

खुले आसमान के नीचे भोज और वैदिक पूजन

गांव के पंच और ग्रामीणों ने एक विशेष आयोजन किया. खुले आसमान के नीचे सामूहिक भोजन (बाग रसोई) का आयोजन हुआ, जिसमें ग्रामीणों ने भगवान को लड्डू-चूरमा का भोग अर्पित किया गया. विश्वमंगल हनुमान मंदिर के पुजारी द्वारा वैदिक मंत्रों के साथ यज्ञ और हवन कर इंद्र देव से वर्षा की प्रार्थना की गई.

टोने-टोटकों की अद्भुत परंपरा

पूजा-पाठ के बाद परंपरागत टोटकों का सहारा लिया गया. इनमें प्रमुख था — एक जीवित व्यक्ति को मृतक की तरह शय्या पर लिटाकर पूरे गांव में शवयात्रा की तरह घुमाना. इस टोटके के दौरान उस व्यक्ति को गधे पर उल्टा बिठाकर गांव भर में निकाला गया और सभी मंदिरों के दर्शन कराए गए. शव यात्रा की तरह डीजे के साथ लोग "मुर्दा उठाए चल रहे थे", और अंत में श्मशान जैसी प्रक्रिया करते हुए प्रतीकात्मक चिता को अग्नि दी गई.

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महिलाओं ने भी की विशेष प्रार्थना

गांव की महिलाएं और पुरुषों ने पेट के बल जमीन पर लोटते हुए इंद्र देव से अच्छी बारिश की प्रार्थना की. इस आयोजन में गांव का लगभग हर घर शामिल रहा और श्रद्धा, विश्वास और पारंपरिक आस्था की अद्भुत झलक देखने को मिली. अंत में गांव के पटेल ने काकड़ पूजन कर समापन किया. ग्रामीणों की माने तो यह प्राचीन परंपरा है, जिसे अकाल या वर्षा की कमी के समय किया जाता है.

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