Diarrhea in Madhya Pradesh: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के आदिवासी बाहुल्य डिंडोरी जिले में डायरिया का कहर (Diarrhea in Dindori) देखने को मिल रहा है. यहां 15 दिनों में डायरिया से 11 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि कई लोग इससे ग्रसित हैं. इन गांवों में डायरिया दूषित पानी (Contaminated water) पीने की वजह से फैल रहा है. इधर, 11 लोग की मौत के बाद ग्रामीण पीएचई विभाग पर लापरवाही का आरोप लगा रहे हैं.
डायरिया ने 11 लोगों की ली जान
दरअसल, बीते दिन डिंडोरी के शहपुरा इलाके के देवरी कला गांव में डायरिया से पीड़ित एक बुजुर्ग की मौत हो गई. बुजुर्ग की मौत इलाज के दौरान हुई है. बता दें कि बुजुर्ग डायरिया से पीड़ित था, जिसे इलाज के लिए शहपुरा अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उसकी मौत हो गई. इसके अलावा मेहदवानी विकासखंड के सीधो गांव में उल्टी दस्त से सावन धुर्वे नाम के एक बुजुर्ग की मौत हो गई.
हालांकि इससे पहले अमरपुर विकासखंड के मनोरी गांव में उल्टी दस्त से 7 लोगों की मौत हो गई. वहीं बजाग विकासखंड के बिझोरी गांव में अबतक 2 युवकों की मौत हो चुकी है.
इसके अलावा देवरी कला गांव में डायरिया तीन मरीज पीड़ित हैं, जिनका इलाज शहपुरा अस्पताल में चल रहा है. इन सभी मरीजों को उल्टी दस्त की शिकायत है. हालांकि अब इन मरीजों की हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है.
दूषित पानी पीने की वजह से फैला डायरिया
डिंडोरी जिले के जिन चार गांवों में उल्टी दस्त से पीड़ित लोगों ने जान गंवाई है, वहां दूषित पानी पीने की वजह से डायरिया फैलने की आशंका जताई जा रही है.
पीएचई विभाग पर लापरवाही का आरोप
दरअसल, जिन चार गांवों में डायरिया फैला हैं, वहां के लोग पीएचई विभाग पर लापरवाही का आरोप लगाया है. ग्रामीणों का आरोप हैं कि शुरुआती बारिश के दौरान पीएचई विभाग के द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में जलस्रोतों का क्लोरीनेशन नहीं किया गया, जिसके चलते जिले के चार गांव के लोग डायरिया का प्रकोप झेलने को मजबूर हैं.
वहीं 11लोगों की मौत से पीएचई व स्वास्थ्य विभाग नींद से जागा और अमला प्रभावित गांवों समेत अन्य गांवों में जाकर जलस्रोतों का क्लोरीनेशन करने में जुट गया है.
15 दिनों में 11 मौत
बता दें कि जिले में पिछले 15 दिनों में उल्टी दस्त की बीमारी से चार गांवों में 11 मौत की हो गई है. वहीं लगातार हो रही मौतों के बाद स्वास्थ विभाग का अमला प्रभावित गांवों में डेरा डाले हुए है और घर घर जाकर लोगों का स्वास्थ्य परीक्षण किया जा रहा है. देर शाम तक देवरीकला गांव में स्वास्थ्य विभाग ने सात लोगों को चिन्हित किया है जो डायरिया से पीड़ित बताये जा रहे हैं, जबकि सीधो गांव के दो मरीजों को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने गांव के तमाम जलस्रोतों में ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव किया है और ग्रामीणों को पानी उबाल कर पीने की सलाह दी है.
शहपुरा बीएमओ ने की डायरिया की पुष्टि
शहपुरा विकासखंड के स्वास्थ्य अधिकारी डॉक्टर सत्येंद्र परस्ते ने बताया कि देवरीकला ग्रामपंचायत के पूर्व सरपंच पुष्पू सिंह की मौत डायरिया बीमारी के कारण हुई है. वहीं गांव में स्वास्थ्य परीक्षण के दौरान सात लोगों को चिन्हित कर उनका उपचार किया जा रहा है. डॉक्टर सत्येंद्र परस्ते ने ग्रामीणों से पानी को उबालकर पीने की भी अपील की है.
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