कुदरत का कहर: भारी बारिश और ओलावृष्टि  से फसलें हुईं चौपट, हालात देख कर आ जाएगा रोना

MP Weather Update: किसानों के अनुसार बारिश और ओले गिरने के कारण फसलों को बुरी तरह नुकसान पहुंचा है. सबसे ज्यादा समस्या उन किसानों के सामने खड़ी हो गई है, जिन्होंने कर्ज लेकर फसल की बुआई की थी.

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Hailstorm in Madhya Pradesh: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में लगातार हो रही बारिश (Rainfall) और ओलावृष्टि (Hailstorm) ने अन्नदाताओं की परेशानी बढ़ा दी है. पन्ना जिले के अजयगढ़ (Ajaygarh) क्षेत्र में मौसम का मिजाज ऐसा बदला कि इसने किसानों की कमर तोड़कर रख दी है. दरअसल, यहां तेज बारिश के साथ बड़े-बड़े ओले भी गिरने से भारी तबाही हुई है. रही सही कसर बारिश ने पूरी कर दी. यहां मानसून की तरह झमाझम बारिश हुई.

किसानों के अनुसार बारिश और ओले गिरने के कारण फसलों को बुरी तरह नुकसान पहुंचा है. रात में ग्राम पंचायत मोहाना, गुमानगंज, बिलाही, मझगाय, भानपुर, बरकोला, किशनपुर, दुर्गापुर, सिद्धपुर, नयागांव, रमजीपुर, पंचमपुर और खोरा सहित क्षेत्र के लगभग 250 गांवों में ओले के साथ बारिश हुई. यह बारिश 15 दिनों में दो-तीन दिन के अंतराल में लगातार होने के कारण फसलों को भारी नुकसान हुआ है, जिससे किसानों की नींद उड़ चुकी है.

किसानों ने की मुआवजे की मांग

सबसे ज्यादा समस्या उन किसानों के सामने खड़ी हो गई है, जिन्होंने कर्ज लेकर फसल की बुआई की थी.  किसानों के अनुसार ग्राम पंचायत मोहाना में  250 ग्राम तक के ओले गिरे, जिससे फसलें पूरी तरह से चौपट हो चुकी हैं. ओले गिरने से फसल चौपट होने से बेहाल किसानों ने अब शासन प्रशासन से अनुरोध किया है कि शीघ्र ही सर्वे कराकर उचित मुआवजा दिया जाए.

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50‌ प्रतिशत से ज्यादा पहुंचा नुकसान

ओलावृष्टि और बारिश की वजह से गेहूं, चना, मसूर और सरसों की फसल जमीदोज हो गई है. पन्ना से लेकर देवेंद्र नगर और अजयगढ़ से लेकर धरमपुर और खोरा तक सैकड़ों गावों में कुदरत का कहर देखा जा सकता है. भारी बारिश के साथ बड़े-बड़े ओले गिरने से यहां फसलों को 50‌ प्रतिशत से ज्यादा नुकसान पहुंचा है. सबसे अधिक ओलावृष्टि अजयगढ़ क्षेत्र के उदयपुर, बनेहरी, बरियारपुर, शान गुरैया और धरमपुर क्षेत्र के माखनपुर, बहिरवारा, रमजूपुर, खोरा, पैगनपुर, पंचमपुर, परनियापुर, टिकुरहा, हरदी, सिद्धपुर आदि में बताई जा रही है, जिससे यहां के किसानों के माथे पर एक बार फिर चिंता की लकीरें पड़ गई है. कई किसान ऐसे है जिन्होंने ब्याज पर पैसे लेकर गेहूं की खेती की थी. अब उनकी 50% फसल बर्बाद हो चुकी है. ऐसे में वे जल्द से जल्द सर्वे कराकर सरकार से मुआवजे की मांग कर रहे हैं. 

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