Corruption: MP में नल जल योजना की राशि डकार गए अफसर! यहां बूंद-बूंद पानी को तरसे ग्रामीण

Nal Jal Yojana katni : नल से जल ( Nal Jal Yojana) तो नहीं निकला. लेकिन अफसरों-ठेकेदारों के लिए धन खूब निकला है... ग्रामीणों ने ऐसा आरोप लगाया है. एमपी के कटनी जिले का मामला है. 

विज्ञापन
Read Time: 5 mins
Nal Jal Yojana katni : नल जल योजना की कटनी जिले में खुली पोल.

Nal Jal Yojana Corruption in katni : नल जल योजना ( Nal Jal Yojana) . इस योजना के बारे में जरूर आपने सुना होगा. लेकिन इस योजना में बड़े स्तर पर कुछ अफसर भ्रष्टाचार कर रहे हैं. हितग्राहियों को भले ही इस योजना से जल न मिला हो. लेकिन अधिकारियों की जेबें जरूरी भर गई है.ग्रामीणों का ऐसा आरोप है. ताजा मामला कटनी जिले से आया है. जहां कैलवारा खुर्द गांव में पेयजल संकट गहरा गया. उपसरपंच ने नल जल योजना में पाइप लाइन नहीं बिछाने और लाखों की राशि के गबन का आरोप लगाया है. सीईओ ने जिला स्तरीय जांच की जा रही है. अफसर और ठेकेदारों की मुश्किलें बढ़ सकती हैं.

नल जल योजना के बाद क्यों है पेयजल संकट?

कैलवारा में पेयजल संकट गहरा गया, जिससे ग्रामीण पानी की समस्या को लेकर काफी परेशान है. एक हैंडपंप लगा है. लेकिन उसे भी ज्यादा चलाने से लाल पानी आता है, जो पीने योग्य नहीं है. गांव के उपसरपंच भूषण पाठक ने गांव में नल-जल योजना अंतर्गत पाइपलाइन नहीं बिछाने और दस लाख से ज्यादा की राशि गबन का आरोप लगाया है, जिसपर जनपद सीईओ ने शिकायत की आधार पर जांच के लिए जिला स्तरीय कमेटी को सौंपने की बात कही है.

Advertisement

NDTV ने ग्राउंड जीरो पर लिया जायजा

एनडीटीवी की टाम ने गांव में जाकर पानी की समस्या पर वार्ड नंबर 5,6 और 7 के ग्रामीणों और उपसरपंच से बात की. इस दौरान ग्रामीणों का गुस्सा साफ तौर पर दिखा. हाथों में पानी के खाली डिब्बे लिए हुए एक बड़े समूह में ग्रामीण तस्वीरों में दिखाई दे रहे हैं. ग्रामीण महेश प्रसाद ने बताया कि यहां कैलवारा खुर्द में पानी पानी की बहुत ज्यादा समस्या है वार्ड नंबर 7 में पानी की बहुत परेशानी है. वह यहां वहां से जिसके यहां बोरिंग लगा है, तो वहां से मांग कर भर लेते है कभी मना भी कर देते है.

Advertisement

ग्रामीण भारती रजक महिला ने बताया कि पानी नहीं आता है यहां वहां से मांगकर काम चला रही है, नल है तो एक ही नल है, जिसके यहां बोरिंग है, तो कोई देता है तो कोई मना कर देता है. अन्य ग्रामीण मनोज ने बताया कि वह पानी के लिए जा रहे है हैंड पंप से भरकर गुजारा करते है कल टैंकर आया था समाजसेवी द्वारा भेजा गया था, तो उससे पीने का पानी भरे है.

Advertisement

'हैंडपंप से गंदा पानी आता है'

महिला सीमा ने बताया कि पानी के लिए वह परेशान होती है हैंडपंप में गंदा पानी आता है पानी के लिए पूरा दिन खराब हो जाता है इसलिए और कोई काम नहीं कर पाती है. अन्य ग्रामीण संतोष ने बताया कि पानी की बहुत परेशानी है. आज से नहीं बहुत दिन से समस्याएं है इसके पहले यहां अच्छा खास बोरवेल चल रहा था, लेकिन पंचायत द्वारा सफाई के नाम से काम करवाया गया तो वह भी बंद हो गया, गांव में लाइट भी नहीं रहती है अब वह डिब्बा लेकर पानी के लिए परेशान रहते है.

गांव के उपसरपंच भूषण पाठक ने बताया कि पानी की समस्या अभी है. इस साल से ग्राम पंचायत ने परेशानी बनाकर रखी गई है. गांव में बहुत पहले समय से यहां बोर कराया गया था, जिसमें एक एचपी की मोटर डालकर सभी को पानी की सप्लाई की जा रही थी. लेकिन ग्राम पंचायत ने उस मोटर को खोलकर मोटर निकाल लिया.

'पाइपलाइन विस्तारीकरण का काम नहीं किया गया'

पाइप लाइन निकाल लिए जिसपर उक्त कार्य के लिए रिकवरी भी है. सचिव द्वारा 13 लाख रु का पीएचई में नल जल योजना में खर्चा दिखा रहे है लेकिन अब तक पिछले 8-10 साल में कोई भी पाइपलाइन विस्तारीकरण का काम नहीं किया गया. पानी की बिगड़ी हालत बनाने के लिए जानबूझकर ऐसा किया गया.

अब ग्रामीण शुभu 5 बजे से दोपहर तक पानी के लिए परेशान रहते है. ग्राम पंचायत द्वारा मोटर पाइप गायब करने पर जनपद द्वारा एक लाख रु की रिकवरी निकाली गई है, ग्राम पंचायत द्वारा करीब 12 लाख रु की गड़बड़ी करने पर उन्होंने कलेक्टर और सीईओ को लिखित शिकायत दी है.

ये भी पढ़ें- MP के राजगढ़ में शराब की दुकान हटने के बाद मना जश्न, 'विजय दिवस' जैसा बना माहौल, जानिए क्या कुछ हुआ?

नोटिस जारी की गई थी

वहीं, जनपद पंचायत सीईओ प्रदीप सिंह ने बताया कि कैलवारा खुर्द गांव में बोर धंसकने से पानी की समस्या है, इसके लिए पीएचई को कहा गया है, वार्ड नंबर 5 और 6 में मोटर निकाले जाने पर नोटिस जारी की गई थी, जो प्रक्रिया में है. उपसरपंच ने आरोप लगाया था कि 10 लाख रु पेयजल की लिए पाइपलाइन विस्तारीकरण के लिए किया गया है, जिसका मूल्यांकन पीएचई द्वारा किया गया था, शिकायत का पत्र जिला स्तर में सौंपा गया, जिसकी जांच जिला स्तर से की जानी है, पीएचई को जांच करने के लिए मार्क किया गया होगा.

ये भी पढ़ें- जहां बरसीं गोलियां उसे कहा जाता है 'मिनी स्विट्जरलैंड', हमेशा रहा फिल्ममेकर्स की पसंदीदा, इन फिल्मों की हो चुकी है शूटिंग