Kin Cheezon Se Roza Toot Jata hai: रमजान के महीने की शुरुआत होने के साथ ही मुस्लिम समाज ने रोजा रखना शुरू कर दिया है. दरअसल, रोजा इस्लाम धर्म के पांच प्रमुख स्तंभों तौहीद (एकेश्वरवाद) नमाज, रोजा, जकात (साल भर की खर्च से अधिक संपत्ति का 2.5% दान) और हज (जीवन में कम से कम एक बार मक्का मदीना की यात्रा) में से एक है. रोजे के दौरान हर रोजेदार सुबह सूरज निकलने से पहले लगभग डेढ़ घंटे पहले से लेकर सूर्यास्त तक कुछ भी खाते पीते नहीं हैं.
रोजे की शुरुआत सेहरी (रोजे का समय शुरू होने से पहले का खाना) से होती है और इफ्तार (रोजा खोलने के लिए किया जाने वाला भोजन) के साथ यह खत्म होता है. इफ्तार करने के बाद हर वह काम करने की इजाजत है, जो एक मुसलमान के लिए आम दिनों में जायज है. हालांकि, रोजे से जुड़े कई ऐसे नियम है, जिसका पालन नहीं करने से रोजा टूट जाता है. तो आइए जानते हैं कि वह कौन से अमल है, जिससे रोजा टूट जाता है.
खाने-पीने से रोजा टूट जाता है
रोजे के दौरान कुछ भी जानबूझकर खाने-पाने से रोजा टूट जाता है. यही वजह है कि रोजेदार प्यास की शिद्दत होने के बाद भी एक बूंद तक पानी नहीं पीते हैं. हालांकि, भूलवश कुछ खाने से रोजा नहीं टूटता है. शर्त ये है कि अगर कोई भूले से कुछ खा या पी रहा है, तो जैसे ही रोजे की याद आ जाए, तो खाना-पीना बंद कर दें और मुंह में भी जो कुछ है, उसे उगल दे, तो इससे रोजा नहीं टूटता है.
शारीरिक संबंध बनाने से रोजा टूट जाता है
रोजे के अंगर शारीरिक संबंध बनाना वर्जित है. लिहाजा, रोजे की हालत में शारीरिक संबंध बनाने से रोजा टूट जाता है और इस रोजे के बदले 60 रोजा रखने का प्रावधान है. हालांकि, रोजे दौरान खुद-बखुद नाइट फेल होने से रोजा नहीं टूटता है, लेकिन अगर खुद ऐसी हरकत करता है, तो इससे रोजा टूट जाएगा. इसके अलावा, रोजे के दौरान किसी महिला के माहवारी शुरू हो जाने पर भी रोजा टूट जाएगा. लिहाजा, ऐसी महिला को रोजा तोड़कर खाना पीना शुरू कर देना चाहिए. इसके बदले उन्हें बाद में रोजा रखना होगा.
नाक-कान और आंख में दवा डालना
रोजे के दौरान नाक-कान और आंख में दवाई डालना भी मना है. ऐसा करने से रोजा टूट जाता है. हालांकि, सुरमा लगाने या दांतों में खिलाल करने, इत्र लगाने और कान की सफाई करने से रोजा नहीं टूटता है. हालांकि, रोजे के दौरान औरतों को इत्र लगाने से परहेज करना चाहिए.
ताकत का इंजेक्शन लेना
रोजे के दौरान कोई भी शक्तिवर्धक दवा को शरीर के अंदर इंजेक्ट कराना मना है. ऐसा करने से यानी ताकत के इंजेक्शन लगवाने या डिप लगवाने से रोजा टूट जाता है.
धूम्रपान करने से भी टूट जाता है रोजा
यूं तो इस्लाम धर्म में सभी तरह के धूम्रपान आम दिनों में भी वर्जित है. लिहाजा, रोजे के दौरान इस अमल को करने से रोजा टूट जाता है. रोजे के दौरान हुक्का, सिगार, सिगरेट, पान, तम्बाकू, पीने खाने से रोज़ा टूट जाता है. अगर्चे पान व तंबाकू की पीक थूक दी हो, फिर भी रोजा टूट जाएगा, क्योंकि इसके छोटे-छोटे अंश हलक में चिपक जाते हैं.
दूसरे का थूक निगलने से टूट जाता है रोजा
रोजे को लेकर एक बड़ी गलतफहमी है कि थूक निगलने से रोजा टूट जाता है, जोकि पूरी तरह से गलत है. हां, अगर कोई थूक को मुंह में जमा कर निगलता है, तो इससे रोजा टूट जाएगा. इसके अलावा, दूसरे का थूक निगल लिया या अपना ही थूक हाथ पर लेकर फिर से निगल लिया तो इससे रोज़ा टूट गया.
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जानबूझकर मुंह भर कर उल्टी करने से
रोजे के दौरान जानबूझकर मुंह भर कर उल्टी करने से भी रोजा टूट जाता है. लेकिन, अगर मुंह भरकर उल्टी नहीं की हो तो रोजा नहीं टूटेगा. अगर बीमारी की वजह से खुद-ब खुद उल्टी हो जाए, तो इससे भी रोजा नहीं टूटता है.
इसके अलावा, रोजे के दौरान हर हराम काम से बचना चाहिए, जैसे चोरी करने, गाना सुनने, झूठ बोलने, किसी की शिकायत करने, गाली-गलौज व लड़ाई झगड़ा करने जैसे बुरे काम से भी बचना चाहिए, इससे रोजा टूटता तो नहीं है, लेकिन रोजे की रूहानियत खत्म हो जाती है. लिहाजा, रोजे की हालत में ऐसे बुरे कामों से हर हाल में बचना चाहिए.
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