छत्तीसगढ़ में बढ़ेगी SIR प्रक्रिया की समय-सीमा? कांग्रेस ने वन क्षेत्रों से घिरे राज्य को अधिक समय मिलना बताया जरूरी

SIR Process Extension: SIR फिलहाल, बूथ स्तरीय अधिकारी(बीएलओ) 4 नवंबर से 4 दिसंबर तक घर-घर जाकर गणना फॉर्म वितरित कर रहे हैं। मसौदा मतदाता सूची नौ दिसंबर को प्रकाशित होने वाली है, दावे और आपत्तियां दर्ज करने की अवधि नौ दिसंबर से आठ जनवरी तक है.

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CG CONGRESS RAISED ISSUE OF SIR PROCESS EXTENSION IN CHHATTISGARH
रायपुर:

SIR Process Deadline: छत्तीसगढ़ के मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने गुरुवार को राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी को ज्ञापन सौंपकर राज्य में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) की समय-सीमा बढ़ाने का आग्रह किया है. मौजूद कार्यक्रम के तहत छत्तीसगढ़ में मसौदा मतदाता सूची 9 दिसंबर को प्रकाशित होने वाली है,

फिलहाल, बूथ स्तरीय अधिकारी(बीएलओ) 4 नवंबर से 4 दिसंबर तक घर-घर जाकर गणना फॉर्म वितरित कर रहे हैं। मसौदा मतदाता सूची नौ दिसंबर को प्रकाशित होने वाली है, दावे और आपत्तियां दर्ज करने की अवधि नौ दिसंबर से आठ जनवरी तक है.

 सुनवाई और सत्यापन 31 जनवरी तक, 7 फरवरी को प्रकाशित होगी अंतिम मतदाता सूची

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के संचार विभाग के प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने गुरुवार को बताया कि पार्टी के एसआईआर निगरानी समिति के संयोजक और पूर्व राज्य मंत्री मोहन मरकाम के नेतृत्व में कांग्रेस नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल ने सीईओ को ज्ञापन सौंपा औप मुख्य निर्वाचन अधिकारी ( सीईओ) से समय-सीमा बढ़ाने की मांग की है.

4 नवंबर से 4 दिसंबर के मध्य छत्तीसगढ़ में चलेगा मतदाता सूची का विशेष गहन पुनिरीक्षण

कांग्रेस ने कहा है कि निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार 4 नवंबर से 4 दिसंबर 2025 के मध्य छत्तीसगढ़ में मतदाता सूची का विशेष गहन पुनिरीक्षण कार्यक्रम चलाया जा रहा है. उक्त निर्धारित तिथि में प्रदेश के दो करोड़ से अधिक मतदाताओं के बीच पहुंचकर गणना पत्रक तैयार कर पाने के लिए समय सीमा की कमी महसूस की जा रही है. 

कांग्रेस की दलील है कि आदिवासी और वन क्षेत्रों से घिरे इलाकों में संचार और परिवहन की सुविधाएं नहीं है. इससे उनके पास सूचनाएं पहुंचने में समय लगेगा. उसका कहना है कि राज्य में 2028 में चुनाव होना है, ऐसे में पर्याप्त समय के साथ प्रमाणिक डेटा उपलब्ध कराया जा सकता है.

आदिवासी और वन क्षेत्रों से घिरे इलाकों को अधिक समय मिलने को बताया न्यायसंगत 

कांग्रेस के मुताबिक आदिवासी और वन क्षेत्रों से घिरे छत्तीसगढ़ के अधिकांश हिस्से संपर्क सुविधाएं सीमित हैं, जहां संचार या परिवहन की सुविधाएं पर्याप्त नहींं होने से सूचनाएं पहुंचने में समय लगता है. ऐसे क्षेत्रों में पहचान पत्र, निवास प्रमाण, आयु प्रमाण को प्राप्त करने में कठिनाई होती हैं. इसलिए अधिक समय मिलना न्यायसंगत और आवश्यक है.

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समय-सीमा में वृद्धि के लिए कांग्रेस ने दिया बस्तर क्षेत्र के बाढ़ विस्थापितों का हवाला

कांग्रेस ने SIR समय-सीमा में वृद्धि के लिए दिए दलील में बस्तर क्षेत्र में बाढ़ के कारण विस्थापित परिवारों का हवाला दिया है, जहां आज भी स्थानीय लोग पुनर्वास की प्रक्रिया में हैं. बाढ़ में जिनके दस्तावेज़ और पहचान प्रमाण नष्ट या क्षतिग्रस्त हो चुके हैं, उनको अपेक्षित सहभागिता मिलना कठिन है.

चुनाव अधिकारियों ने बताया कि मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के तहत अब तक करीब एक करोड़ 78 लाख चार हजार 726 मतदाताओं को गणना प्रपत्र वितरित किए जा चुके हैं, जो कि प्रदेश में मतदाताओं की कुल संख्या का लगभग 84 प्रतिशत है.

ग्रामीण क्षेत्रों में धान कटाई कार्य के चलते प्रकिया में हिस्सा नहीं ले पाएंगे ग्रामीण

कांग्रेस का कहना है कि वर्तमान समय में ग्रामीण क्षेत्रों में धान कटाई का कार्य चल रहा है, जिसमें कृषक और ग्रामीण व्यस्त होने के कारण उक्त कार्यक्रम में भाग नहीं ले पाएंगे. उन्होंने बताया कि कांग्रेस प्रतिनिधिमंडल ने सीईओ से मिलकर एसआईआर की समय सीमा बढ़ाने व  गहन पुनरीक्षण के काम की परेशानियों के निराकरण की मांग रखी है.

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छत्तीसगढ़ में साल 2003 में आयोजित की गई थी पिछली एसआईआर प्रक्रिया

अधिकारियों ने बताया कि विगत चार नवंबर से एसआईआर की शुरूआत के बाद से बीएलओ घर-घर पहुंचकर मतदाताओं को गणना प्रपत्र वितरित कर रहे हैं. प्रदेश में पंजीकृत मतदाताओं की कुल संख्या दो करोड़ 12 लाख 30 हजार 737 है. राज्य में पिछली एसआईआर प्रक्रिया 2003 में आयोजित की गई थी.

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