Dhamtari Bulldozer Action News: धमतरी नगर निगम (Dhamtari Nagar NIgam) ने बुधवार को अवैध कब्जे के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की. इस दौरान नगर निगम दस्ते ने अवैध अतिक्रमण कर बनाए गए तीन कॉम्प्लेक्स और एक घर पर बुलडोजर की करवाई की. वहीं, गरीब परिवारों ने अपना घर खाली करने के लिए एक सप्ताह का मंगा.
छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले में नगर निगम की ओर से लगातार शहर में अवैध अतिक्रमण कर बसे लोगों पर कार्रवाई देखने को मिल रही है. इसी कड़ी में बुधवार को सिहावा रोड स्थित शांति घाट के सामने दानी टोला वार्ड में धमतरी नगर निगम ने अवैध अतिक्रमण पर बुलडोजर चलाया.
निगम ने मुकेत कराई 48 सौ फीट जमीन
इस अवैध अतिक्रमण को हटाने के लिए निगम के आला अधिकारी व कर्मचारियों के साथ पुलिस के जवान भी मौके पर तैनात रहे. इस पूरे मामले पर नगर निगम उपायुक्त प्रवीण सर्वा ने बताया कि जिस जमीन पर घर बनाकर लोग रह रहे हैं और कॉम्प्लेक्स बनाकर दुकान संचालित कर रहे हैं, यह 48 सौ फीट जमीन निगम की है. इस पर लोगों ने अवैध रूप से कब्जा जमा रखा है.
कई बार नोटिस के बाद भी जमीन नहीं की खाली
निगम के अफसरों ने बताया कि इन लोगों को नगर निगम की ओर से कई बार नोटिस देने के बाद भी इसे नहीं हटाया गया. इस बार भी नगर निगम ने एक सप्ताह से अधिक का समय दिया था, लेकिन कब्जाधारियों ने घर और कॉम्प्लेक्स को खाली नहीं किया. इसके बाद नगर निगम ने मजबूरी में सख्त रुख अपनाते हुए अवैध कब्जाधारियों पर यह कार्रवाई की है.
गरीब परिवार को मिला एक हफ्ते का समय
इस दौरान निगम की टीम जब शांति घाट के दानी टोला वार्ड स्थित रोड के पास उषा बाई और श्यामलाल के मकान को तोड़ने के लिए पहुंची, तो यहां रहने वाले गरीब परिवारों ने नगर निगम के अफसरों को बुलडोजर रोकने के लिए मजबूर कर दिया. दरअसल, इन लोगों का कहना था कि यहां पर वह 40 से 45 वर्ष से अधिक समय से इस घर को बनाकर रह रहे हैं. इन लोगों ने बताया कि नगर निगम को भी टैक्स पटा रहे हैं. इसके बावजूद नगर निगम की ओर से हमारे घर पर बुलडोजर चलाया जा रहा है. इस दौरान निगम के दस्ते के सख्त रुख के बाद भी ये लोग अपने घर पर ही डटे रहे. इन लोगों ने साफ कहा कि यह निगम की ओर से गलत किया जा रहा है. हमने अपने घर का सामान तक खाली नहीं किया है. हमारे पास ना रहने के लिए जगह है और न खाने के लिए कुछ है. फिर भी निगम इस तरह की कार्रवाई कर रहा है. इन लोगों ने कहा कि दिहाड़ी कर घर चलाने वाले हम गरीब लोग हैं. अगर हमारा घर टूट जाएगा तो हमारे पास रहने के लिए कुछ नहीं बचेगा, ऐसे में हम पूरे परिवार समेत निगम में जाकर रहेंगे. इसके बाद नगर निगम ने एक सप्ताह का समय देकर कार्रवाई को रोक दिया.
गरीबों को मिला स्थानीय लोगों का साथ
स्थानीय लोगों ने भी निगम की इस कार्रवाई को गलत बताया. मौके पर मौजूद कई लोगों का कहना था कि गर्मी का मौसम है, ऐसे में कोई भी पक्षियों का घोंसला तक नहीं उजाड़ने का सोचता है, लेकिन नगर निगम एक परिवार के घर को उजाड़ने का काम कर रही है, जो बहुत ही गलत है.
बहरहाल अब देखना यह है कि 40 से 45 साल से अधिक वर्ष से निवासरत इस परिवार का शासन प्रशासन किसी तरह की मदद करता है, या कई वर्षों से बने हुए इस मकान पर बुलडोजर चलता है. यह तो आने वाला समय ही बता पाएगा.